प्रश्न : आपने शरीर के बारे में बताया है। मैं शरीर और पंचतत्वों के संबंध को जानना चाहता हूं।
श्री श्री रवि शंकर : पृथ्वी, जल, अग्नि, वायु और अंतरिक्ष – ये पंचतत्व हैं। अगर इन में से एक भी तत्व ना हो तो ये शरीर टिक नहीं पायेगा। है ना? पृथ्वी तत्व से भोजन मिलता है। जल तत्व तो आप जानते ही हैं। फिर, अग्नि तत्व की, गर्मी की आवश्यकता होती है। गर्मी के बिना ये शरीर जी नहीं सकता। फिर वायु तत्व आया। शरीर के लिये वायु और अंतरिक्ष तत्व के बिना रहना भी संभव नहीं है।
इस शरीर का अस्तित्व पंचतत्वों से है। और फिर इस शरीर का क्या होता है? ये शरीर पंचतत्व से आया है और उन्हीं में वापिस चला जायेगा। ये विज्ञान है। एक मृत शरीर में भी पंचतत्व विद्यमान होते हैं। तो फिर, एक मृत और जीवित शरीर में क्या अंतर है? जीवित शरीर में जीवन होता है। और, जीवन क्या है?
जब ये प्रश्न आया, तब तुम देखते हो, ‘ओह! प्राण – जीवन शक्ति!’ और फिर तुम प्राण के गहन अध्धयन में जाते हो, और प्राण के बारे में समझते हो। ‘ये क्या है? ये मन है। ओह! तो ये मन क्या है? मन कितने प्रकार का होता है? मन क्या क्या करता है?’ इस जिज्ञासा से तुम आर्ट आफ़ लिविंग में आ जाते हो।
🙏🏻 जय गुरुदेव 🙏🏻
Www.artofliving.org/hindi
Comments
Post a Comment